शशि थरूर ने ट्रंप-मोदी मुलाकात को लेकर प्रतिक्रिया दी और उम्मीद जताई कि मोदी ने भारतीय प्रवासियों के पक्ष में मजबूती से अपनी बात रखी होगी। उन्होंने व्यापार वार्ता के नतीजों की तारीफ की और दोनों नेताओं के सकारात्मक बयानों को उत्साहजनक बताया। साथ ही, थरूर ने ट्रंप द्वारा मोदी की प्रशंसा को उनकी बेहतरीन वार्ताकार क्षमता का सबूत माना।

नई दिल्ली: कांग्रेस नेता शशि थरूर ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की डोनाल्ड ट्रंप द्वारा की गई तारीफ को लेकर अपनी राय रखी।
व्हाइट हाउस में पीएम मोदी का स्वागत करते हुए अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कहा, “मोदी एक शानदार नेता हैं, जो भारत में बेहतरीन काम कर रहे हैं।” इसके साथ ही उन्होंने मोदी को बेहतर वार्ताकार बताते हुए कहा, “मोदी मुझसे ज्यादा कड़े और माहिर सौदेबाज हैं। यह कोई मुकाबला नहीं है।”
इस पर प्रतिक्रिया देते हुए शशि थरूर ने कहा,
“अगर डोनाल्ड ट्रंप, जिन्हें उनके रक्षा सचिव ने दुनिया का सबसे बेहतरीन डील मेकर कहा था, वही मोदी जी को खुद से भी बेहतर बता रहे हैं, तो यह निश्चित रूप से उनके लिए गर्व की बात है।”
थरूर के बयान पर सोशल मीडिया में चर्चाएं
थरूर के इस बयान के बाद सोशल मीडिया पर अलग-अलग प्रतिक्रियाएं देखने को मिलीं। कुछ ने इसे जिम्मेदार विपक्ष का बयान बताया, तो कुछ ने इसे पार्टी से अलग सोचने की मिसाल बताया।
- एक यूजर ने लिखा, “ऐसे ही विपक्ष की जरूरत है, जैसा किताबों में पढ़ा था!”
- किसी ने कहा, “सर, आप सही हैं लेकिन गलत पार्टी में हैं!”
- एक अन्य यूजर ने मजाकिया अंदाज में लिखा, “थोड़ा यह सीख राहुल गांधी को भी दे दीजिए।”
हालांकि, इस बयान पर सवाल उठने के बाद थरूर ने सफाई दी कि उन्होंने यह टिप्पणी देशहित को ध्यान में रखते हुए की है, न कि सिर्फ पार्टी राजनीति के आधार पर।
ट्रंप-मोदी बैठक पर थरूर का नजरिया
प्रेस कॉन्फ्रेंस में थरूर ने कहा कि सरकार इस बैठक को सफल बता रही है।
उन्होंने उम्मीद जताई कि पीएम मोदी ने अमेरिका से यह स्पष्ट किया होगा कि भारतीयों को सम्मानपूर्वक वापस भेजा जाए।
थरूर ने कहा,
“अगर कोई भारतीय अवैध रूप से अमेरिका में रह रहा है, तो हम उसे अपने देश में देख लेंगे, लेकिन उन्हें हथकड़ी लगाकर और सैन्य जहाज से भेजना गलत तरीका है।”
व्यापार और टैरिफ को लेकर थरूर ने कहा,
“भारत और अमेरिका इस मुद्दे पर गहराई से बातचीत कर रहे हैं, जो सितंबर-अक्टूबर तक पूरी होने की उम्मीद है। अगर ऐसा नहीं होता, तो अमेरिका कुछ ऐसे फैसले ले सकता था, जो हमारे व्यापार के लिए नुकसानदायक होते।”
उन्होंने आगे कहा,
“अब तक मोदी और ट्रंप की बातचीत के जो संकेत मिले हैं, वे सकारात्मक हैं। जिन मुद्दों को लेकर चिंता थी, उन पर बातचीत हो रही है, जो अच्छी बात है।”







